प्रिंस कुमार
शिवहर, 4 जनवरी।
दिसंबर महीने में शिवहर के मातृ शिशु अस्पताल में सैकड़ों किलकारियां गूंज उठी। दिसंबर में मातृ-शिशु अस्पताल में 500 से अधिक बच्चों ने जन्म लिया। जिसमें से अधिकतर बच्चे सामान्य प्रसव से पैदा हुए हैं। अस्पताल की नर्सिंग ऑफिसर व लेबर इंचार्ज अनुराधा कुमारी कहती हैं कि प्रसव की सुविधा यहां अनवरत चल रही है। कोरोना काल में भी संस्थागत प्रसव को जारी रखने के लिए रोस्टर के अनुसार कार्य किया गया ताकि डॉक्टर और नर्स अपनी सेवा यहां दे पाएं।
लॉक डाउन में भी खूब गूंज बच्चों की किलकारियां
कोरोना वायरस के कारण पूरे देश में लॉकडाउन हो चुका था। ऐसे में प्रसव का विषय गंभीर मुद्दा था। लेकिन कोरोना की विषम परिस्थितियों में भी मातृ-शिशु अस्पताल में बच्चों की किलकारियां खूब गूंजी।
अनुराधा कुमारी कहती हैं कि विषम परिस्थिति में भी लोगों को संस्थागत प्रसव के प्रति जागरूक किया तथा उन्हें इसके लिए भरोसा दिलाया। मार्च में 280, अप्रैल में 250, मई में 289, जून में 294, जुलाई में 336 तथा अगस्त में 453 प्रसव हुए हैं। वहीं सितंबर में 488 और अक्टूबर में 450 महिलाओं का सफल व सुरक्षित प्रसव हुआ।
प्रसव कक्ष में मौजूद हैं कई सुविधाएं
अनुराधा कुमारी ने बताया कि यहां सामान्य प्रसव की सारी सुविधाएं मौजूद हैं । चौबीस घंटे एंबुलेंस, डॉक्टर व नर्स की मौजूदगी प्रसव की संख्या को गिरने नहीं देती है। इसके अलावा उन्हें दवाओं का भी मुफ्त में वितरण किया जाता है। जिसमें आयरन व कैल्शियम की गोली दी जाती है। वहीं जन्म लिए बच्चों को तत्काल जन्म प्रमाण- पत्र निर्गत किया जाता है। यहां प्रसव पूर्व जांच (एएनसी) की भी व्यवस्था है। अस्पताल में ऑक्सीजन कंसनट्रेटर भी है। ये सुविधाएं जन्म के समय किसी बच्चे की जान बचाने के लिए उपयोगी सिद्ध होती हैं।
परिवार नियोजन की भी दी जाती है जानकारी-
अनुराधा कुमारी कहती हैं कि यहां प्रसव कराने आई महिला के परिवार को परिवार नियोजन के स्थायी और अस्थायी साधनों के बारे में बताया जाता है। इच्छुक लाभार्थियों को इसका लाभ भी दिया जाता है। अस्पताल में इसका अलग से कक्ष है।