- 68 बेड की व्यवस्था उपलब्ध है डंकन अस्पताल में
मोतिहारी, 19 मई।
प्रिंस कुमार
पूर्वी चम्पारण जिले के कोरोना से पीड़ित मरीजों के इलाज की सुविधाएं डंकन अस्पताल रक्सौल में उपलब्ध कराई गई है । जहाँ समान्य मरीज़ो के साथ कोविड 19 से पीड़ित मरीजों के लिए अलग से आइसोलेशन सेंटर की व्यवस्था की गई है। आइसोलेशन सेंटर में कोरोना से पीड़ित मरीजों के इलाज की हर प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध हैं । प्रखण्ड चिकित्सा पदाधिकारी डॉ एस के सिंह ने बताया - रक्सौल के डंकन अस्पताल में मरीजो के लिए 60 बेड उपलब्ध है ।वही 8 बेड इमरजेंसी सेवा के लिए तैयार है । डंकन के कोरोना आइसोलेशन सेंटर पर कंट्रोल रूम भी बनाया गया है | जिसमें स्वास्थ्य कर्मी अपनी सेवाएं दे रहे हैं। इसमें डॉक्टर, नर्स, डाटा ओपरेटर, लैब टेक्नीशियन, स्वास्थ्य कर्मी, सफाई कर्मी भी शामिल हैं । सभी मास्क, सैनिटाइजर के साथ कोरोना प्रोटोकॉल के नियमों का पालन करते हुए लगातार सेवा दे रहे हैं।
रक्सौल प्रखण्ड क्षेत्र में मंगलवार को 3 कोरोना के मरीज मिले जबकि पूर्वी चम्पारण में कोरोना के142 मरीज मिले । केयर के ब्लॉक मैनेजर सूरज कुमार गौतम ने बताया रक्सौल के स्वास्थ्य केंद्र पर साफ़ सफाई के साथ आवश्यक दवाएं, ऑक्सीजन, वेंटिलेटर,के साथ अन्य सभी आवश्यक सुविधा उपलब्ध है । डंकन अस्पताल के स्वास्थ्य प्रबंधक अरविंद कुमार ने बताया कोरोना मरीजों को मुफ्त भोजन व अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराई गई है । यहाँ शिफ्ट में स्वास्थ्य कर्मी अपनी सेवा दे रहे हैं । कोरोना के गाइडलाइंस के अनुसार सारी व्यवस्था यहां उपलब्ध है ।
ब्लॉक मैनेजर सूरज गौतम ने कहा वर्तमान में कोरोना की लहर मे सावधानी बरत कर हम सुरक्षित रह सकते हैं ।
कोविड19 से बचने के लिए दोनों डोज़ लेना बेहद आवश्यक है। तभी हमारे शरीर मे एन्टीबॉडी का निर्माण होगा । टीकाकरण के बाद भी कोरोना प्रोटोकॉल का पालन जरूरी है ।
3 लेयर का मास्क जरूरी :
बिना जरूरी कार्य के घरों से बाहर न जाए । जाना भी हो तो 95 मास्क , या 3 लेयर का मास्क लगाए । साफ मास्क पहनें ।अपने घर , वस्त्र , वाहनों की बराबर सफाई करें ।
जिले में 30 केंद्रों पर कोरोना टीकाकरण हो रहा है -
पूर्वी चम्पारण के सिविल सर्जन डॉ अखिलेश्वर प्रसाद सिंह व कोरोना नोडल डॉ रंजीत राय ने बताया जिले के सभी 30 केंद्रों पर कोरोना का टीकाकरण किया जा रहा है। यहां पर जांच व टीकाकरण संबंधित सभी सुविधाएं उपलब्ध हैं । किसी प्रकार की कमी होने पर तुरंत पटना, दिल्ली से सम्पर्क स्थापित कर सहयोग लिया जाता है। ग्रामीण क्षेत्रों, बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन, मॉल सहित भीड़ भाड़ वाले इलाकों में कोरोना की जांच की जा रही है। जिले में बाहर से आनेवाले लोगों को चिह्नित कर जांच की जा रही है। कोरोना पर राज्य स्वास्थ्य समिति एवम बिहार सरकार भी काफी एलर्ट है। जगह जगह मास्क पहनने व कोरोना से बचने के लिए जागरूकता फैलायी जा रही है।
जिले में प्रत्येक दिन 5000 से 6000 लोगों की कोरोना जांच की जा रही है। मरीज मिलने पर जांच करने के बाद उन्हें होम आइसोलेशन किया जा रहा है। ज्यादा संक्रमण होने पर सदर अस्पताल में आइसोलेशन वार्ड में इलाज किया जा रहा है। गंभीर स्थिति होने पर मरीजों को पटना रेफर भी किया जा रहा है। वहीं आरटी पीसीआर जांच एवं एंटीजन टेस्ट बढ़ाने पर भी विचार किया जा रहा है। जब तक सभी लोगों का टीकाकरण नहीं हो जाता कोरोना काल में सावधानी बरतने की जरूरत है।
कोरोना काल में इन उचित व्यवहारों का करें पालन
- एल्कोहल आधारित सैनिटाइजर का प्रयोग करें।
- सार्वजनिक जगहों पर हमेशा फेस कवर या मास्क पहनें।
- अपने हाथ को साबुन व पानी से लगातार धोएं।
- आंख, नाक और मुंह को छूने से बचें।
- छींकते या खांसते वक्त मुंह को रूमाल से ढकें।