मिथिला हिन्दी न्यूज पटना।केंद्र में मंत्री बनने के बाद 16 अगस्त को रामचंद्र प्रसाद सिंह पटना पधार रहे हैं.उनके स्वागत की तैयारी ज़ोरों पर चल रही है.पर्दे के पीछे असल मक़सद राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह को जवाब भी देना है.शुक्रवार को अध्यक्ष पद पर ताजपोशी के बाद पटना पहुंचने पर ललन सिंह का भव्य स्वागत किया था.स्वागत में स्वजातीय लोगों की भारी जुटान थी.अब बारी आरसीपी सिंह समर्थकों की है.पार्टी कार्यालय में लगा एक पोस्टर ही पुरी कहानी बता रही है.पोस्टर से ललन सिंह का नाम ग़ायब है.आरसीपी सिंह को जिस तरह अपमानित कर अध्यक्ष पद से हटाया गया और पार्टी की कमान एक भूमिहार को सौंप दी गयी तब से ही पिछड़ी-अति पिछड़ी जाति की मानी जाने वाली पार्टी में खलबली मची है.टिकारी के जदयू विधायक रहे अभय कुशवाहा खुल कर सामने आ गये हैं.प्रदेश जदयू के महासचिव पूर्व विधायक अभय कुशवाहा ने ललन सिंह को जदयू नेता मानने से ही इंकार कर दिया है.उनके द्वारा पटना पार्टी कार्यालय के सामने में लगाये गये पोस्टर में नीतीश-आरसीपी सहित कुल 14 नेताओं की तस्वीर है मगर राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह उसमें नहीं हैं.यह साफ-साफ बग़ावत का संकेत है.सोशल मीडिया पर भी जदयू के पिछड़ी जाति के नेता आरसीपी सिंह के स्वागत में एयरपोर्ट पहुंचने की अपील कर रहे हैं. मालूम हो कि ललन सिंह के स्वागत में बिहार के भूमिहरों का जुटान था.अब शक्ति परीक्षण में यदि आरसीपी गुट हावी रहा तो जदयू को टूट से कोई नहीं बचा सकता.फेल होने पर आरसीपी सिंह की जदयू में भविष्य भी दांव पर लग जायेगी.