संवाद
शिवसेना नेता व राज्यसभा सांसद संजय राउत को कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। बुधवार को राउत की जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए मुंबई की पीएमएलए कोर्ट ने उन्हें जमानत दे दी है। राउत पात्रा चॉल भूमि घोटाले के आरोप में लंबे समय से जेल में बंद हैं। आर्थर रोड जेल अधिकारी के मुताबिक, रिहाई के आदेश मिलने के दो घंटे बाद संजय राउत जेल से बाहर आ सकते हैं। दस्तावेजों की जांच के बाद जेल से रिहा किया जाएगा।
सॉलिसिटर जनरल ने की जमानत पर रोक लगाने की मांग
संजय राउत को जमानत मिलते ही अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ने जमानत आदेश के अमल पर कुछ समय के लिए रोक लगाने की मांग की है, जिससे ईडी मुंबई की पीएमएलए अदालत के आदेश के खिलाफ उच्च न्यायालय में अपील कर सके। इस मामले में पीएमएलए कोर्ट आज दोपहर तीन बजे अपना आदेश सुनाया और फैसले पर रोक लगाने से इनकार कर दिया।
इसके बाद प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पात्रा चावल घोटाला मामले में संजय राउत को मिली जमानत को लेकर बॉम्बे हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया। एएसजी के हाई कोर्ट बेंच के समक्ष मामले का उल्लेख करने की संभावना है। एएसजी ने संजय राउत की जमानत का विरोध करने वाली उनकी अर्जी का जिक्र किया और उन्हें दी गई जमानत पर रोक लगाने की मांग की। जस्टिस भारती डांगरे की सिंगल जज बेंच अब इस मामले की सुनवाई करेंगी। मामले में अब कल सुनवाई होगी। हालांकि, हाईकोर्ट ने संजय राउत और प्रवीण राउत की रिहाई पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है।