भोजपुरी सिनेमा प्रयोगवाद के दौर से गुजर रही है साफ सुथरी परिवारिक फिल्मों का निर्माण हो रहा है युवा ऊर्जावान अभिनेता अभिनेत्रियों को दर्शक खूब पसंद कर रहे हैं इसी कड़ी में पटना के लाल रोहित राज यादव और भोजपुरी इंडस्ट्री की चुलबुली अभिनेत्री पूनम दूबे की जोड़ी भोजपुरी फिल्म प्रेम लगन में धमाल मचा रही फिल्म का गाना किरिया खाके कह सोशल मीडिया पर लोगों को खूब भा रहा है। भोजपुरिया रुपहले पर्दे पर रोहित राज यादव और पूनम दुबे की जोड़ी कई फिल्मों में एक साथ लॉन्च हो रही दोनों की पहले से इंडस्ट्री पहचान रही है दोनों अभिनय के क्षेत्र में काफी मजे हुए कलाकार भी है।राजद के समर्पित सिपाही है रोहित राज यादव अपनी फिल्मों में भी दिखाते हैं सामाजिक न्याय की अवधारणा लालू प्रसाद यादव और राबड़ी देवी को मानते हैं अपना आदर्श तेजस्वी तेजप्रताप और मीसा भारती के प्रचार प्रसार के लिए वर्षो से निस्वार्थ रूप से करते हैं काम।दर्जनभर से ज्यादा भोजपुरी फिल्मों में बतौर नायक नजर आ चुके पटना से सटे बेला निवासी अभिनेता रोहित राज यादव भीड़ से अलग है वे लगातार तीसरी बार पैक्स अध्यक्ष है।रोहित राज यादव राजद के सशक्त सिपाही है। कहते हैं फिल्मों के माध्यम से राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के सामाजिक न्याय करना को दिखाने का प्रयास करते हैं रोहित कहते हैं कि पूरे देश में लालू प्रसाद यादव जैसा गरीबों का कोई मसीहा नहीं आज बिहार में और पूर्वोत्तर भारत में जो दबे कुचले लोग सामाजिक रुप से आगे बढ़े हैं वह लालू प्रसाद यादव की ही देन है। इश्क बड़ा बेदर्दी और प्यार होता है दीवाना सनम जैसी फिल्मों में बतौर नायक नजर आने वाले रोहित फ्री में भी राजद विचारधारा वाले कलाकारों को एकजुट करने में लगे रहते हैं जहां किसी कलाकार को कोई परेशानी होती है उसके मदद के लिए आगे आते हैं।अपने फिल्मी कैरियर को लेकर रोहित काफी उत्साहित और इसी महीने एक बड़े प्रोजेक्ट को लेकर लंदन जा रहे हैं कहते हैं कि आज बिहार के बाहर जो बिहारी जाते हैं उनकी पहचान लालू प्रसाद यादव के चलते है बिहार के बारे में विदेशों में भी जो लोग हैं सबसे ज्यादा लालू प्रसाद यादव के बारे में सवाल करते हैं इसके पीछे कारण है एक दबा कुचला वंचित समाज का लड़का लोगों के अपार जनसमर्थन से जननायक बना आज बिहार की जनता इस बात से सहमत हैं की कोई दूसरा लालू प्रसाद यादव नहीं हो सकता तेजस्वी प्रसाद यादव में भी ढेर सारी संभावनाएं है।