सावन महीने में चहुंओर हरियाली छाई रहती है, झूले झूले जाते हैं और पारंपरिक गीत गाए जाते हैं. पंडित पंकज झा शास्त्री ने बताया सावन में झूला झूलने का विशेष महत्व है. कहा जाता है झूला झूलने से उमंग और जोश भर जाता है. सावन में सदियों से ही झूला झूलने की परंपरा चलती आ रही है!
कहा जाता है कि भगवान श्री कृष्ण ने राधा को भी झूला झूलाया था. इसी के बाद से झूला झूलने की परंपरा शुरू हुई. ऐसे में सावन महीने में झूला झूलना शुभ माना जाता है! सावन महीन में मेहंदी लगाने की परंपरा सदियों से चली आ रही है. इस समय विवाहित महिलाएं अपने हाथों पर मेहंदी लगाती हैं. मान्यता है कि मेहंदी लगाने से दंपत्ति के बीच रिश्ता मजबूत होता है और प्रेम बढ़ता है.
कहा जाता है कि मेहंदी जितनी गहरी होती है, उतना ही पति से अधिक प्रेम मिलता है. इसके अलावा मेहंदी स्वास्थ्य के लिए भी लाभदायक मानी जाती है. मेहंदी लगाने से गर्मी दूर होती है और शरीर को ठंडक मिलती है. मेहंदी से तनाव भी दूर होता है.