सुशील कुमार मोदी ने बोला कि नीतीश कुमार बताएं कि कांग्रेस-शासित राज्यों में जातीय गणना क्यों नहीं हुई और कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार ने जातीय जनगणना कराई भी तो उसकी रिपोर्ट जारी क्यों नहीं की गई? उन्होंने बोला कि नीतीश सरकार ने 2022 के नगर निकाय चुनाव में अति पिछड़ों को आरक्षण देने के लिए आनन-फानन में आयोग बना कर जो रिपोर्ट बनवाई, उसे अब तक जारी क्यों नहीं किया गया?
क्या गारंटी है कि सरकार जातीय गणना की रिपोर्ट सार्वजनिक कर देगी?
बीजेपी नेता सुशील मोदी ने बोला कि बिहार में जातीय सर्वेक्षण कराने का निर्णय उस सरकार का था, जिसमें 16 मंत्रियों की पूरी ताकत के साथ सम्मिलित बीजेपी थी. उसमें आरजेडी, कांग्रेस सम्मिलित नहीं थी. उन्होंने बोला कि आरजेडी को इसी बात का दर्द है कि बीजेपी ने जातीय गणना (सर्वे) का समर्थन क्यों किया और अब इसे पिछड़ा-विरोधी कैसे साबित करें. बोला कि पिछड़े समाज से आने वाले प्रधानमंत्री नरेंद्र भाई मोदी के सर्वोच्च राजनीतिक पद पर रहते बीजेपी को पिछड़ा विरोधी साबित करने की कोशिश कभी कामयाब नहीं होगी.जातीय गणना के मुद्दे पर सुशील मोदी ने बोला कि हमने बिहार विधान मंडल में दो बार समर्थन किया और प्रधानमंत्री से मिलने वाले सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल में भी बीजेपी सम्मिलित थी. केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में जातीय सर्वे का विरोध नहीं किया.