इस प्रश्न पर कि क्या आप मान रहे हैं कि बार बार ये गलती हो रही है?
इस पर अशोक चौधरी ने बोला कि सरकार के संज्ञान का ये फैसला नहीं है. पिछली बार अगर नीतीश कुमार ने सुधार कर दिया था दोबारा इस तरह की गलती नहीं होनी चाहिए थी, लेकिन सरकार के स्तर पर फैसला नहीं है. नीतीश कुमार के संज्ञान में आते ही इसमें सुधार होगा.अशोक चौधरी ने बयान देते हुए मीडिया से बोला कि जो परंपरा के अनुसार होता आया है उसे मानना चाहिए. बीजेपी के आरोपों का जवाब देते हुए हिंदू विरोधियों के प्रश्न पर बोला कि कौन है जो हिंदू का ठेका ले लिया है? हम लोग कहां से आए हैं? हम लोग क्या हैं? हम लोग हिंदू नहीं हैं? टीका चंदन करके पूजा करके महादेव को प्रणाम करके निकले हैं तो हिंदू नहीं हैं? बीजेपी हिंदू की बात करती है तो हिंदू हो गई और बाकी लोग सबकी बात करते हैं तो वो दूसरे हो गए?
बता दें कि पहले भी छुट्टियों में कमी को लेकर मामला सामने आया था. इसी वर्ष 29 अगस्त को शिक्षा विभाग की तरफ से संशोधित छुट्टी की सूची जारी की गई थी. इसमें सितंबर से दिसंबर तक पड़ने वाली 23 छुट्टियों को घटाकर 11 कर दिया गया था. इसके बाद विरोध हुआ तो सरकार ने कमी के निर्देश को वापस ले लिया था. एक बार फिर विवाद प्रारंभ हो गया है.