बिहार में रेत खनन मामले में ईडी (ED) द्वारा तलाशी में गिरफ्तारी हुई है. ईडी ने बड़ी कार्रवाई करते हुए लालू यादव के करीबी सुभाष यादव (Subhash Yadav) को गिरफ्तार कर लिया है. ईडी ने देर रात्रि को ही सुभाष यादव को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया था. बता दें कि सुभाष यादव से संबंधित पटना में छह परिसरों पर शनिवार को ईडी द्वारा तलाशी ली गई, जिसमें उनके करीबी सहयोगियों के परिसर भी सम्मिलित हैं. तलाशी के क्रम में 2.30 करोड़ से ज्यादा की नकदी और आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए गए हैं.ईडी ने मेसर्स ब्रॉडसंस कमोडिटीज प्राइवेट लिमिटेड (बीसीपीएल) और उसके निदेशक के विरुद्ध बिहार पुलिस द्वारा दर्ज की गई 20 एफआईआर के आधार पर पीएमएलए जांच प्रारंभ की थी, जिसमें इल्जाम लगाया गया था कि वे ई-चालान का उपयोग किए बिना रेत के अवैध खनन और बिक्री में लगे हुए हैं. पीएमएलए के तहत जांच से पता चला कि रेत की अवैध बिक्री से 161 करोड़ रुपये का पीओसी उत्पन्न हुआ है.
ईडी द्वारा दी गई सूचना के अनुसार रेत की अवैध बिक्री को एक सिंडिकेट द्वारा नियंत्रित किया जाता है,
जो कंपनी में धन निवेश करता है और रेत की अवैध बिक्री के जरिए लाभ कमाता है जो पीओसी के अलावा और कुछ नहीं है. सुभाष यादव बीसीपीएल में प्रमुख सिंडिकेट सदस्यों में से एक हैं. वहीं, इससे पहले इस मामले में सिंडिकेट सदस्य राधा चरण साह, उनके बेटे और बीएसपीएल के निदेशकों को ईडी पीएमएलए के तहत गिरफ्तार कर चुकी है.बता दें कि इससे पहले भी सुभाष यादव के जगहों पर आयकर विभाग की टीम ने छापमेरी की थी. वर्ष 2018 में पटना, दिल्ली और धनबाद में आयकर विभाग की टीम ने छापेमारी की थी. वहीं, सुभाष यादव ने लोकसभा चुनाव 2019 में झारखंड के चतरा से आरजेडी उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा था, लेकिन इस चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था.