दरवाजा खोलने पर मंदिर के अंदर हनुमान जी की प्रतिमा ओर शिवलिंग स्थापित थी। एएसपी ओर सीओ ने मंदिर में प्रतिमाओं की साफ सफाई की। मंदिर को पुराने स्वरूप में लौटने का प्रयास जारी है।
कभी यहां हिंदुओं की होती थी घनी आबादी
नगर हिन्दू सभा के संरक्षक विष्णु सरन रस्तौगी ने बताया कि पहले यहां हिंदू आबादी हुआ करती थी। लेकिन 1978 के सांप्रदायिक दंगे के दौरान कई हिंदू घरों में आग लगा दी गई। डर के चलते हिंदू परिवारों ने यहां से पलायन कर दिया और हिंदू आबादी वाले इलाके में बस गए। विष्णु सरन ने बताया कि पहले इस मंदिर में भजन कीर्तन हुआ करते थे, मंदिर के बराबर में ही एक कुआं है। जिसको अकील अहमद ने पाट दिया। मंदिर मुस्लिम आबादी में होने के चलते उस पर कब्जा कर मकान में मिला लिया है।
*डीएम ने दिया आश्वासन
जिलाधिकारी डॉ. राजेंद्र पैंसिया ने मंदिर के बारे में पूरी जानकारी ली और मंदिर को पुनः पुराने स्वरूप में लौटाने की बात कही। साथ ही नगर पालिका की टीम को बुलाकर मंदिर पर हुए अवैध कब्जे को हटाने और कुएं को खुलवाने के लिए नगर पालिका को आदेश दिया।
*पुलिस टीम ने किया मंदिर साफ।
एएसपी श्रीशचंद्र और सीओ अनुज चौधरी ने मंदिर की साफ-सफाई की। डीएम और एसपी की मौजूदगी में इस इलाके में प्रशासन ने स्थिति का जायजा लिया और मंदिर के पुनर्निर्माण के लिए कदम उठाने का आश्वासन दिया।
आज ही पकड़ी बिजली चोरी
संभल के नखासा क्षेत्र में प्रशासन और पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में बिजली चोरी का बड़ा मामला सामने आया। शनिवार सुबह पांच बजे जिलाधिकारी डा. राजेंद्र पैंसिया और पुलिस अधीक्षक कृष्ण कुमार बिश्नोई ने नखासा के संवेदनशील इलाकों में पहुंचकर बिजली चोरी के नेटवर्क का भंडाफोड़ किया। छतों पर फैले कटिया कनेक्शन और धार्मिक स्थलों पर अवैध कनेक्शन मिलने से अधिकारियों ने सख्त रुख अपनाया।
कटिया कनेक्शन से फैलाया था चोरी का जाल
नखासा क्षेत्र में बिजली चोरी के इस बड़े नेटवर्क में खंभों पर कटिया का जाल बिछा हुआ पाया गया। जांच के दौरान बिजली कर्मियों को कई घरों में हीटर और पानी गर्म करने की रॉड जैसे उपकरण चलते हुए मिले, जिनका इस्तेमाल कटिया के जरिए किया जा रहा था। बिजली विभाग की टीम ने सीढ़ी लगाकर छतों पर चढ़ाई की और बड़ी संख्या में कटिया केबल को बरामद किया।
40 से 50 प्रतिशत तक है इस क्षेत्र में लाइन लॉस
बिजली नखासा जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में बिजली चोरी की समस्या के चलते लाइन लॉस 40-50 प्रतिशत तक पहुंच जाता है। ऐसी स्थिति में बिजली विभाग की टीम को सुरक्षा के बिना काम करना मुश्किल हो जाता है। पुलिस और प्रशासन के सख्त रवैये के बाद अब विभाग की टीम चोरी के मामलों की जांच कर पा रही है।